
झारखंड में सरकारी कामकाजों में बरती जाने वाली लापरवाही से होने वाला नुकसान आम जनता को उठाना पड़ रहा है। लातेहार के रहने वाले 65 वर्षीय रामचरण मुंडा को राशन वितरण में हुई तकनीकी गड़बड़ी की कीमत अपनी जान देकर चुकानी पड़ी।
दरअसल क्षेत्र में बायोमेट्रिक सिस्टम के जरिए राशन वितरण किया जाता है, लेकिन पिछले कुछ समय से किसी तकनीकी खराबी के कारण बायोमेट्रिक मशीन काम नहीं कर रही थी, जिसके कारण रामचरण को राशन नहीं मिल पा रहा था। स्थिति इतनी बुरी हो गई कि कथित तौर पर भूख से छटपटाने के कारण रामचरण मुंडा ने आखिरकार गुरुवार को दम तोड़ दिया।
Latehar: 65-yr-old Ramcharan Munda died allegedly from starvation y’day, because electronic machine used for biometric-based ration delivery wasn’t working. His daughter says, “we haven’t received ration since past 3 months. He hadn’t eaten anything in past 4 days”. #Jharkhand pic.twitter.com/m9pZbf8Cxc
— ANI (@ANI) June 7, 2019
उनकी बेटी ने बताया कि बायोमेट्रिक मशीन खराब होने के कारण पिछले तीन महिनों से उनके परिवार को राशन नहीं मिला है। उन्होंने कहा कि उनके पिता की मौत अत्यधिक भूख के कारण हुई है। पिछले चार दिनों से रामचरण मुंडा ने कुछ नहीं खाया था।
गौरतलब है कि इससे पहले भी कई बार राशन कार्ड और बायोमेट्रिक सिस्टम में आने वाली खराबियों के कारण लोगों को तरह-तरह की परेशानी का सामना करना पड़ा है। कई जगह से ऐसे मामलों की खबरें आती हैं, लेकिन शायद ही कभी सरकार की ओर से इसे लेकर कोई ठोस कदम उठाया गया है।