ओपिनियन

धर्मो के रास्ते अलग, ध्येय किंतु एक : स्वामी विवेकानंद

 –जितेंद्र गुप्ता  नई दिल्ली, 11 जनवरी । ‘उठो, जागो और तब तक रुको नहीं, जब तक मंजिल प्राप्त न हो जाए’, ‘यह जीवन अल्पकालीन है, संसार की विलासिता क्षणिक है, लेकिन जो दूसरों के लिए […]