
तीन साल बाद और चुनाव के ठीक तीन महीने पहले जेएनयू के चर्चित राजद्रोह मामले में अंततः दिल्ली पुलिस ने कर्मठता दिखाते हुए उमर खालिद, कन्हैया कुमार, अनिर्बन समेत साथ कश्मीरियों के खिलाफ चार्जशीट दर्ज कर दिया. चार्जेजशीट की टाइमिंग चर्चा का विषय बना हुआ है चूँकि आम चुनाव तीन से चार महीने में होने तय हैं और कन्हैया कुमार सीपीआई की सीट से बिहार के बेगुसराय से चुनाव लड़ने वाले हैं. वहीँ अटकलें हैं कि उमर खालिद भी जल्द ही राजनीति ज्वाइन करेंगे.
चार्जशीट आने के बाद उमर खालिद ने सोमवार को ट्वीट करते हुए लिखा “प्रिय नरेंद्र मोदी, चार्जशीट फाइल की जा रही है मैंने सुना. मुझे बस एक ही चीज़ कहना है कि हम अपनी बेगुनाही साबित करने के लिए अदालत की सुनवाई का सामना करने के लिए तैयार हैं. लेकिन क्या आप राफ़ेल घोटाले में जेपीसी (संयुक्त संसदीय समिति) या प्रेस कांफ्रेंस का सामना करने को एक बार भी तैयार हैं? देश जानना चाहता है!”
Dear Narendra Modi,
Hearing about the chargesheet being filed, I have only one thing to say – we are ready to face trial in court of law to prove our innocence.
But are you ready to face a JPC on Rafale scam, or at least face a press conference once?
The Nation Wants To Know!
— Umar Khalid (@UmarKhalidJNU) January 14, 2019
उमर खालिद ने अपने फेसबुक प्रोफाइल पर अनिर्बन और अपने बयान को लेकर भी सोमवार को एक पोस्ट किया है. पोस्ट में लिखा है कि यह मेरा और अनिर्बन का ब्यान है. इसमें उनहोंने चार्जशीट के टाइमिंग को लेकर सवाल उठाया है. “हम अभी तक चार्जशीट नहीं देखा है, लेकिन अगर जो मीडिया में बताया जा रह है वह सही है तो यह साफ़ साफ़ कहना चाहते हैं कि हम सारे आरोपों को खारिज करते हैं और उनके खिलाफ कानून के हिसाब से लड़ेंगे. एक ही तरह से यह सही है कि अब मामला लगभग तीन साल के मीडिया ट्रायल के बाद अंततः असल अदालत में पहुँच गया है. हम अपनी बेगुनाही को लेकर आश्वस्त हैं और अदालत में पूरा भरोसा है.” फेसबुक पोस्ट में उमर ने लिखा.
दिल्ली पुलिस ने लगभग तीन साल के बाद इस मामले से जुड़े छात्रों पर चार्जशीट दायर किया है. सेक्शन-124 A, 323, 465, 471, 143, 149, 147, 120B के तहत इसे पेश किया गया है. चार्जशीट में कुल 10 मुख्य आरोपी बनाए हैं जिसमें कन्हैया कुमार, उमर खालिद और अनिर्बान भट्टाचार्य के अलावा सात कश्मीरी हैं जिनमें कुछ छात्र हैं और कुछ छात्र नहीं हैं. इन सात कश्मीरी के नाम मुजीर (जेएनयू), मुनीर (अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी), उमर गुल (जामिया यूनिवर्सिटी), बसारत (जामिया), खालिद भट्ट (जेएनयू), रईस रसूल (स्टूडेंट नहीं है), अकीब (डेंटल डाक्टर), खालिद भट्ट (जेएनयू) इसके अलावा 36 अन्य लोग भी आरोपी हैं. मुजीर (जेएनयू) और मुनीर (अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी) दोनों भाई हैं.